13 जून 2014 - 19:29
बहरैन में ख़लीफ़ाई अत्याचार का सिलसिला जारी।

बहरैनी नागरिकों ने एक बार फिर आले ख़लीफ़ा शासन की तानाशाही और अत्याचारपूर्ण नीतियों के विरुद्ध प्रदर्शन किए हैं।

बहरैनी नागरिकों ने एक बार फिर आले ख़लीफ़ा शासन की तानाशाही और अत्याचारपूर्ण नीतियों के विरुद्ध प्रदर्शन किए हैं।
अल आलम टीवी चैनल की रिपोर्ट के अनुसार राजधानी मनामा और बोरी नगरों के वासियों ने बृहस्पतिवार और शुक्रवार के बीच वाली रात में सड़कों पर निकलकर आले ख़लीफ़ा शासन की अत्याचारपूर्ण नीतियों की निंदा करते हुए अपनी मांगों के पूरा होने तक शांतिपूर्ण संघर्ष जारी रखने की घोषणा की।
दूसरी ओर अधिकारियों और स्वतंत्रता की समर्थक अंतर्राष्ट्रीय संस्था के प्रमुख अहमद उमर ने बहरैन सरकार पर आरोप लगाया है कि वह अपराध करके उनका इन्कार कर रही है। संयुक्त राष्ट्र संघ के मानवाधिकार आयोग के 46 सदस्य देशों ने जेनेवा में इस परिषद की 26वीं बैठक में बहरैनी सरकार की निंदा में तैयार किए गये एक बयान पर हस्ताक्षर किए हैं किन्तु जेनेवा सम्मेलन में मौजूद बहरैन के प्रतिनिधि ने दावा किया है कि उनकी सरकार विरोधियों पर हिंसा नहीं कर रही है।
फ़रवरी वर्ष 2011 से बहरैनी जनता अपने मूल अधिकारों की प्राप्ति के लिए शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रही है जिनके दौरान अब तक सैकड़ों बहरैनी नागरिक शहीद और घायल हो चुके हैं।

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